वाशिंगटन: अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे लाखों अप्रवासियों को निर्वासित करने के लिए डोनाल्ड ट्रंप ने टॉम होमन को सीमा जार नियुक्त किया है। इमीग्रेशन और कस्टम विभाग के पूर्व कार्यवाहक डायरेक्टर को यह काम सौंपा गया है जो कि देश के इतिहास में सबसे बड़ा देश निकाला बन सकता है। ट्रंप सरकार में अहम जिम्मेदारी मिलने पर टॉम होमन ने कहा कि वह पूरी लगन से अपनी जिम्मेदारी निभाने की कोशिश करेंगे। यहां बताना होगा कि टॉम होमन वही शख्स हैं जिन्होंने पिछले दिनों कहा था कि अमेरिका से लाखों अवैध अप्रवासियों को बाहर निकालने के लिए सेना का इस्तेमाल किया जाना चाहिए।
वर्तमान में दो करोड़ से अधिक अप्रवासी अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे हैं और उन्हें इन सरल तरीकों से निर्वासित नहीं किया जा सकता है। ट्रम्प के पहले कार्यकाल के दौरान टॉम होमन ने इमीग्रेशन और कस्टम विभाग का नेतृत्व किया और उस दौरान बड़ी संख्या में अप्रवासियों को निकालने का काम किया। माना जा रहा है कि ट्रंप के सत्ता संभालने के बाद आप्रवासियों को सीधे इमीग्रेशन हिरासत केंद्रों से निकालने की प्रक्रिया शुरू की जा सकती है। इमीग्रेशन अदालतों में लंबित मामलों को ट्रम्प अपनी कार्यकारी शक्तियों के माध्यम से रद्द कर सकते हैं, और फिर अप्रवासियों को संयुक्त राज्य अमेरिका में रहने का अधिकार नहीं रहेगा। इसके अलावा भविष्य में अवैध आप्रवासियों के लिए सीमा के बहुत करीब हिरासत केंद्र बनाए जाएंगे, जहां उन्हें सेना की मदद से वापस मैक्सिको भेजा जा सके।
अमेरिका के इतिहास में सबसे बड़े निर्वासन की आशंका के चलते ट्रंप ने होमन की नियुक्ति की घोषणा की और कहा कि वह अपनी सरकार के अन्य कार्यों पर अधिक ध्यान देना चाहते हैं, जिसके मद्देनजर निर्वासन का सारा काम होमन को सौंपा जाएगा। यहां ध्यान देने वाली बात यह है कि अनुमान के अनुसार, दस लाख आप्रवासियों को निर्वासित करने के लिए 88 बिलियन डॉलर की राशि की आवश्यकता होगी और इतना अधिक खर्च बहुत मुश्किल है। इससे पहले सीमा पर दीवार खड़ी करने की घोषणा भी खर्च के डर से टाल दी गई थी।