शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की धर्म प्रचार कमेटी, सिख इतिहास अनुसंधान बोर्ड और शिक्षा समिति की तीन महत्वपूर्ण बैठकें आज श्री गुरु रामदास यूनिवर्सिटी ऑफ हेल्थ साइंसेज में शिरोमणि कमेटी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी के नेतृत्व में अमृतसर में आयोजित की गईं। इस दौरान सिख धर्म के प्रचार-प्रसार की रूपरेखा के साथ-साथ सिख साहित्य और शैक्षणिक संस्थानों के नए प्रकाशनों के मुद्दों पर चर्चा की गई।
बैठक के बाद जानकारी देते हुए शिरोमणि कमेटी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने बताया कि सचखंड श्री हरमंदिर साहिब और अन्य ऐतिहासिक गुरुद्वारा साहिबों में संगत द्वारा श्रद्धा और सम्मान के तौर पर बड़ी संख्या में रुमाला साहिब चढ़ाए जाते हैं, लेकिन अक्सर इनकी गुणवत्ता और मानक रुमाल अच्छे नहीं होते इसके साथ ही रूमालों की बहुतायत के कारण रख-रखाव में भी बड़ी समस्या आती है। इसे देखते हुए चर्चा के बाद यह निर्णय लिया गया है कि गुरुद्वारा साहिबों के अंदर विशेष काउंटर स्थापित किए जाएंगे, जहां संगत रुमाला साहिब के लिए यथाशक्ति भेंट जमा कर सकेगी। उन्होंने संगत से अपील की कि वे रूमाल के लिए श्रद्धानुसार भेंट जमा करवाकर रसीद प्राप्त कर लें और रसीद को गुरु दरबार में दिखाकर अरदास करें। उन्होंने कहा कि रुमाला साहिब का चढ़ावा देश के उज्ज्वल भविष्य के लिए इस्तेमाल किया जाएगा।
उन्होंने यह भी बताया कि सिरोपाओ का उपयोग उसकी भावना और धार्मिक महत्व के अनुरूप सुनिश्चित करने के लिए पूर्व में शुरू किए गए प्रयासों को और अधिक गहनता से लागू किया जाएगा। यह केवल धार्मिक और सांस्कृतिक हस्तियों तक ही सीमित रहेगा। अन्य फैसलों के बारे में एडवोकेट धामी ने बताया कि श्री गुरु गोबिंद सिंह जी की माता गुजर कौर जी की 400वीं जन्म शताब्दी इस वर्ष 22 नवंबर को गुरुद्वारा गंगसर साहिब करतारपुर जालंधर में पंथक जाहो-जलाल के साथ मनाई जाएगी। धर्म प्रचार समिति की बैठक में विभिन्न ई-कॉमर्स वेबसाइटों और ऐप्स पर पवन गुरबानी के गुटका साहिब और सांचियों की ऑनलाइन बिक्री पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव पारित किया गया। वकील धामी ने कहा कि यह मामला बेहद गंभीर है, क्योंकि इससे गुरबानी की गरिमा और सम्मान पर असर पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि पारित प्रस्ताव में जत्थेदार श्री अकाल तख्त साहिब से अपील की गई है कि वह पंज सिंह साहिबों की बैठक में इस संबंध में देश को दिशा-निर्देश जारी करें।
सभा में शिरोमणि कमेटी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह के साथ वरिष्ठ उपाध्यक्ष हरभजन सिंह मसाना, कनिष्ठ उपाध्यक्ष भाई गुरबख्श सिंह खालसा, महासचिव भाई राजिंदर सिंह मेहता, धर्म प्रचार कमेटी के सदस्य भाई आमीज सिंह प्रकाश, सुखवर्ष सिंह पन्नू, तेजिंदरपाल मौजूद थे। धामी सिंह लाडवा, प्रितपाल सिंह, रामपाल सिंह बहिनीवाल, मंजीत सिंह बापियाना, शिरोमणि कमेटी सदस्य गुरमीत सिंह बूह, अजमेर सिंह खेड़ा, एडवोकेट भगवंत सिंह सियालका, गुरबचन सिंह करमुनवाला, गुरलाल सिंह, गुरनाम सिंह जस्सल, सिख इतिहास अनुसंधान बोर्ड सदस्य डाॅ. परमवीर सिंह, डाॅ. इंद्रजीत सिंह गोगोआनी, हरविंदर सिंह खालसा, डाॅ. प्रभजोत कौर, सतबीर सिंह धामी, सचिव इंजी: सुखमिंदर सिंह, बलविंदर सिंह काहलवां, गुरिंदर सिंह मथरेवाल, यूनिवर्सिटी के डीन डॉ. एपी सिंह, सह सचिव गुरदयाल सिंह, शाहबाज सिंह, गुरचरण सिंह कुहाला, हरभजन सिंह वक्ता, सहायक निदेशक शिक्षा बीबी सतवंत कौर, प्रभारी डाॅ. जोगेश्वर सिंह, कारज सिंह, गुरप्रताप सिंह व बलदेव सिंह आदि मौजूद थे।